By using this site, you agree to the Privacy Policy and Terms of Use.
Accept
Bharat.earthBharat.earth
  • Home
  • World News
    World NewsShow More
    WTO
    What is WTO? An Insight into its Functions and Significance in Shaping the World Economy
    8 Min Read
    G20 summit
    What is G20 Summit? What is its Significance and Future Perspective? A Comprehensive Guide
    15 Min Read
    International Solar Alliance
    अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन के बारे में जानिए | International Solar Alliance: Purpose, Membership & Goals
    8 Min Read
    Turkish President Responds
    Turkish President Responds: तालिबान की धमकी को तुर्की के राष्ट्रपति ने किया नजरअंदाज, अफगानी भाईयों की जमीन पर कब्जा खत्म करें
    5 Min Read
    gupta-brothers-south-africa
    Gupta Brothers : सहारनपुर के गुप्ता ब्रदर्स कैसे बनें दक्षिण अफ्रीका के “Zupta”, जिन्होंने करा दिया गृहयुद्ध
    7 Min Read
  • Technology
    Technology
    Modern technology has become a total phenomenon for civilization, the defining force of a new social order in which efficiency is no longer an option…
    Show More
    Top News
    pegasus-spyware
    क्या है पेगासस स्पाईवेयर (Pegasus Spyware)? जानिए इससे जुड़ी सभी जानकारी | What is Pegasus Spyware and why its Dangerous | New 2021
    July 23, 2021
    Latest News
    क्या है पेगासस स्पाईवेयर (Pegasus Spyware)? जानिए इससे जुड़ी सभी जानकारी | What is Pegasus Spyware and why its Dangerous | New 2021
    July 23, 2021
  • Gadget
    GadgetShow More
    Acer Aspire 3 Laptop with First AMD Ryzen 7000 Processors in India launched
    5 Min Read
  • Business
  • Health
Search
  • About
  • Contact
  • Privacy Policy
  • Terms
© 2023 Bharat.earth. All Rights Reserved.
Reading: Afghanistan wants India’s help: अफगानिस्तान का बयान, तालिबान से वार्ता विफल होने पर जंग में लेंगे भारत की मदद
Share
Sign In
Notification Show More
Latest News
WTO
What is WTO? An Insight into its Functions and Significance in Shaping the World Economy
World News WTO
lithium reserves in Jammu and Kashmir
First time in India, Huge amount of Lithium reserves found in India’s Jammu and Kashmir region
Uncategorized
G20 summit
What is G20 Summit? What is its Significance and Future Perspective? A Comprehensive Guide
World News G20
Acer Aspire 3 Laptop with First AMD Ryzen 7000 Processors in India launched
Gadget
pegasus-spyware
क्या है पेगासस स्पाईवेयर (Pegasus Spyware)? जानिए इससे जुड़ी सभी जानकारी | What is Pegasus Spyware and why its Dangerous | New 2021
Technology
Aa
Bharat.earthBharat.earth
Aa
  • Gadget
  • Technology
Search
  • Home
    • Home 1
  • Categories
    • Gadget
    • Technology
  • Bookmarks
  • More Foxiz
    • Sitemap
Have an existing account? Sign In
Follow US
  • About
  • Contact
  • Privacy Policy
  • Terms and Condition
© 2022 Foxiz News Network. Ruby Design Company. All Rights Reserved.
Bharat.earth > Blog > World News > Regional news > Asia > Afghanistan wants India’s help: अफगानिस्तान का बयान, तालिबान से वार्ता विफल होने पर जंग में लेंगे भारत की मदद
World NewsAsia

Afghanistan wants India’s help: अफगानिस्तान का बयान, तालिबान से वार्ता विफल होने पर जंग में लेंगे भारत की मदद

Deeksha Mishra
Last updated: 2023/02/06 at 12:47 PM
Deeksha Mishra
Share
Afghanistan's statement
Afghanistan's statement
SHARE

Contents
भारत का वाणिज्यिक दूतावास अस्थायी रूप से बंदभारत और अफगानिस्तान के रिश्ते (India Afghanistan Relation)

काबुल।  (Afghanistan statement ) अमेरिकी और नाटो सैनिकों (American and NATO troops) की वापसी के बाद से अफगानिस्तान में अराजकता की स्थिति पैदा हो गई है. खबर आ रही है कि देश में शांति स्थापित करने के लिए अफगानिस्तान ( Afganistan)  तालिबान से दोहा वार्ता करने वाले हैं. आपको बता दें कि तालिबान (Taliban) ने अफगानिस्तान को लेकर दावा किया है कि उसने 80 फीसदी हिस्सों पर कब्जा कर लिया है. यहां तक की अफगानिस्तान में स्टेकहोल्डर (stakeholder) के तौर पर अपनी मौजूदगी स्थापित करने के लिए तमाम देशों से संपर्क भी साध रहा है. तालिबान का दावा है कि 20 साल पहले जैसा बिल्कुल नहीं है, (Afghanistan statement वह पूरी तरह से बदल चुका है.

टोलो न्यूज के मुताबिक अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई (Former Afghan President Hamid Karzai) इन वार्ताकारों में शामिल है. मगर अफगानिस्तान ने वार्ता के पहले भारत का जिक्र भी किया है. अफगानिस्तान ने कहा कि अगर तालिबान के साथ वार्ता विफल होती है, तो हम भारत की मदद लेंगे. 

भारत में अफगानिस्तान के राजदूत फरीद ममुंडजे (Afghanistan Ambassador Fareed Mamundje)  ने एनडीटीवी से बातचीत में स्पष्ट किया कि इस मदद के तहत अफगानी सैन्य बलों को ट्रेनिंग और तकनीकी मदद मुहैया कराना होगा. ना कि सैनिकों को भेजना तालिबान और अफगानिस्तान सरकार के प्रतिनिधि देश पर विद्रोहियों के बढ़ते नियंत्रण के बीच बातचीत कर रहे हैं. अमेरिका ने ऐलान किया है अफगानिस्तान में अगस्त के अंत उसका सैन्य मिशन पूरा हो जाएगा. हालांकि, न्यूज एजेंसी एएफपी का दावा है कि दोहा में हो रही शांति वार्ता काफी हद तक विफल हो गई है. तालिबान अब पूरी तरह से सैन्य जीत का ऐलान करने के लिए तैयार है

Afghanistan’s Ambassador Fareed Mamundje

अफगानिस्तान के राजदूत फरीद ममुंडजे ने कहा कि अगर तालिबान के साथ शांति वार्ता सफल नहीं हो पाती है तो आने वाले वर्षों में हमें भारत की सैन्य मदद की जरूरत होगी. उन्होंने स्पष्ट किया, ‘हम भारत से यह मांग नहीं कर रहे हैं कि वो अफगानिस्तान में सेना भेजे.’ अफगानिस्तान के राजदूत ने कहा कि उनके देश को एयर फोर्स की जरूरत होगी. अफगानिस्तान चाहेगा कि उनके एयर फोर्स को पाइलट ट्रेनिंग मुहैया कराई जाए. इसके लिए स्वाभाविक तौर पर भारत मुफीद देश है.

afghanistan army

हाल ही में अमेरिकी सैनिकों ने 20 सालों के लंबे युद्ध के बाद अफगानिस्तान के सबसे बड़े एयरबेस को खाली कर अपने सैन्य अभियानों को प्रभावी ढंग से समाप्त कर दिया है. अमेरिकी सैनिकों की वापसी के बाद देश में राजनीतिक अस्थिरता और गृह युद्ध की स्थिति उत्पन्न हो गई है.

withdrawal of american troops

अफ़ग़ानिस्तान में एक बार फिर तालिबान और अफगान सरकार के बीच सत्ता् संघर्ष शुरू हो गया है. ये इलाक़ा 20 सालों से चरमपंथियों के ख़िलाफ़ लड़ाई का केंद्र रहा है. अमेरिका और नेटो की सेना का यहां से जाना ये दिखाता है कि जल्दी ही अफ़ग़ानिस्तान से विदेश सेनाएं की वापसी का काम पूरा होनमे वाला है.

11 सिंतबर को ही अमेरिका के वर्ल्ड ट्रेड सेंटर पर हुए हमले की बरसी है. इस हमले में करीब तीन हज़ार लोग मारे गए थे. ये हमले चरमपंथी संगठन अल-कायदा ने किए थे. अल-क़ायदा तालिबान (al-Qaeda Taliban) की मदद से अफ़ग़ानिस्तान में सक्रिय था. इस हमले के बाद अमेरिका के नेतृत्व वाली नेटो सेना ने अफ़ग़ानिस्तान में चरमपंथियों पर हमले किए और दोनों समूहों को हराया.लेकिन, लंबी लड़ाई में गई जानों और इस पर होने वाले खर्च को देखते हुए अमेरिका अब इस युद्ध को ख़त्म करना चाहता है.

भारत का वाणिज्यिक दूतावास अस्थायी रूप से बंद

अमेरिकी सैनिकों की अफ़ग़ानिस्तान से वापसी और तालिबान के बढ़ते प्रभाव का असर भारत पर बहुत गहरा पड़ता दिख रहा है. अंग्रेज़ी अख़बार ‘द हिन्दू’ (English newspaper ‘The Hindu’)  ने पहले पन्ने पर एक रिपोर्ट प्रकाशित की कि तालिबान के बढ़ते प्रभाव को देखते हुए भारत ने अफ़ग़ानिस्तान के कंधार स्थित अपने वाणिज्यिक दूतावास को अस्थायी रूप से बंद करने का फ़ैसला किया है. अख़बार की रिपोर्ट के अनुसार भारतीय वायु सेना (Indian Air Force) की एक फ़्लाइट से क़रीब 50 राजनयिकों और सुरक्षाकर्मियों को वापस लाया गया है.अख़बार से भारतीय अधिकारियों ने कहा कि भारत सरकार ने यह क़दम सतर्कता के तौर पर उठाया है. 1990 के दशक में कंधार में तालिबान का मुख्यालय (Taliban Headquarters) था और ऐसी रिपोर्ट है कि तालिबान एक बार फिर से कंधार को अपने नियंत्रण में लेने की ओर बढ़ रहा है.

अभी भारत का काबुल स्थित दूतावास और मज़ार-ए-शरीफ़ स्थित एक और वाणिज्य दूतावास बंद नहीं हुआ है. लेकिन विशेषज्ञ आशंका जाहिर कर रहे हैं कि तालिबान इसी तरह बढ़ता रहा तो काबुल में भी भारतीय दूतावास को सुरक्षित रखना आसान नहीं होगा.

भारत और अफगानिस्तान के रिश्ते (India Afghanistan Relation)

अफगानिस्तान और भारत एक दूसरे के पड़ोस में स्थित दो प्रमुख दक्षिण एशिया देश हैं। दोनों देशों के बीच प्राचीन काल से ही गहरे संबंध रहे हैं। यदि महाभारत काल की बात करें तो अफगानिस्तान के गांधार जो वर्तमान समय में कंधार है, की राजकुमारी का विवाह हस्तिनापुर (वर्तमान दिल्ली) के राजा धृतराष्ट्र से हुआ था।दोनों दक्षिण एशियाई क्षेत्रिय सहयोग संगठन (दक्षेस) के भी सदस्य हैं।

दोनों देशों के बीच संबंध 21 वीं सदी में तालिबान के पतन के बाद से और मजबूत हुए। भारत ने अफगानिस्तान के पुनर्निर्माण में रचनात्मक हिस्सेदारी की है। 4 अक्टूबर 2011 को अफगानिस्तान के राष्ट्रपति हामिद करजई की भारत यात्रा के दौरान भारतीय प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के साथ हुई बैठक में सामरिक मामले, खनिज संपदा की साझेदारी और तेल और गैस की खोज पर साझेदारी संबंधी तीन समझौतों पर हस्ताक्षर किए गए। भारत तथा अफगानिस्तान का सम्बंध काफी मित्रता तथा भाईचारा पूर्वक हैं। भारत ने अफगानिस्तान के साथ कई प्रकार के विकासीय समझौते किये हैं। तथा भारत और अफगानिस्तान दोनो एक दूसरे का हमेशा अंतरराष्ट्रीय मंच पर समर्थन करते हैं।

द्विपक्षीय रणनीतिक भागीदारी करार 2011 के तत्वावधान में गठित भारत और अफगानिस्तान के बीच रणनीतिक भागीदारी परिषद की दूसरी बैठक 11 सितम्बर, 2017 को नई दिल्ली में आयोजित की गई। भारत की विदेशी मंत्री सुषमा स्वराज तथा अफगानिस्तान इस्लामिक गणराज्य के विदेश मंत्री महामहिम सलाहुद्दीन रब्बानी ने बैठक की सह-अध्यक्षता की। अपनी यात्रा के दौरान विदेश मंत्री रब्बानी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से भी मुलाकात की। प्रधानमंत्री और भारत की विदेश मंत्री ने बल दिया कि दोनों देशों के बीच समय की कसौटी पर खरे उतरे मैत्रीपूर्ण संबंध हैं तथा उन्होंने एक एकीकृत, संप्रभु, लोकतांत्रिक, शांतिपूर्ण, स्थिर, समृद्ध और बहुलवादी अफगानिस्तान के निर्माण में भारत के निरंतर सहयोग को दोहराया। रणनीतिक भागीदारी परिषद ने पारस्परिक हित और साझी समझ के अनेक द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर चर्चा की तथा उन पर विचारों का आदान-प्रदान किया। राजनीतिक और सुरक्षा मुद्दों, व्यापार, वाणिज्य और निवेश, विकास सहयोग, तथा मानव संसाधन विकास, शिक्षा और संस्कृति के क्षेत्रो में चार संयुक्त कार्यकारी समूहों के परिणामों की समीक्षा की गई और उनका सकारात्मक मूल्यांकन किया गया।

You Might Also Like

What is WTO? An Insight into its Functions and Significance in Shaping the World Economy

What is G20 Summit? What is its Significance and Future Perspective? A Comprehensive Guide

अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन के बारे में जानिए | International Solar Alliance: Purpose, Membership & Goals

Turkish President Responds: तालिबान की धमकी को तुर्की के राष्ट्रपति ने किया नजरअंदाज, अफगानी भाईयों की जमीन पर कब्जा खत्म करें

Gupta Brothers : सहारनपुर के गुप्ता ब्रदर्स कैसे बनें दक्षिण अफ्रीका के “Zupta”, जिन्होंने करा दिया गृहयुद्ध

TAGGED: Afghanistan, Taliban

Sign Up For Daily Newsletter

Be keep up! Get the latest breaking news delivered straight to your inbox.
[mc4wp_form]
By signing up, you agree to our Terms of Use and acknowledge the data practices in our Privacy Policy. You may unsubscribe at any time.
Share this Article
Facebook Twitter Copy Link Print
Share
Previous Article spacex एलोन मस्क (Elon Musk) की SpaceX भारत में बनाना चाहती है उपग्रह संचार उपकरण : Upbeat New 2021
Next Article two-child-policy टू चाइल्ड पॉलिसी : आखिर भारत के लिए क्यों हैं जरूरी| Why Two child policy is important in India in 21’st Century?
Leave a comment

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Stay Connected

Latest News

WTO
What is WTO? An Insight into its Functions and Significance in Shaping the World Economy
World News WTO
lithium reserves in Jammu and Kashmir
First time in India, Huge amount of Lithium reserves found in India’s Jammu and Kashmir region
Uncategorized
G20 summit
What is G20 Summit? What is its Significance and Future Perspective? A Comprehensive Guide
World News G20
Acer Aspire 3 Laptop with First AMD Ryzen 7000 Processors in India launched
Gadget
//

We influence 20 million users and is the number one business and technology news network on the planet

Sign Up for Our Newsletter

Subscribe to our newsletter to get our newest articles instantly!

[mc4wp_form id=”1616″]

Bharat.earthBharat.earth
Follow US

© 2022 Bharta.earth. All Rights Reserved.

  • About
  • Contact
  • Privacy Policy
  • Terms and Condition
Join Us!

Subscribe to our newsletter and never miss our latest news, podcasts etc..

[mc4wp_form]
Zero spam, Unsubscribe at any time.

Removed from reading list

Undo
logo_bharat.earth_x1200
Welcome Back!

Sign in to your account

Lost your password?